बिलासपुर । प्रदेश के शिक्षा कर्मी से शिक्षक बने एल्बी संवर्ग के शिक्षक संविलियन में हुई विसंगति को दूर करने के लिए मोर्चा खोल दिये है। इनकी सबसे बड़ी मांग यह है कि पूर्व सेवा अवधि की गणना कर वेटेज व समयमान वेतनमान दिया जाए इस मांग को लेकर बीते दिनों नवीन शिक्षक संघ छत्तीसगढ़ ने सयुंक्त संचालक शिक्षा संभाग रायपुर को सौंपा ज्ञापन था ।जानकारी देते हुए संघ की प्रदेश महामंत्री गंगा शरण पासी ने बताया कि प्रदेश का एकमात्र संघ नवीन शिक्षक संघ छत्तीसगढ़ लगातार प्रथम नियुक्ति तिथि से पूर्व सेवा अवधि की गणना कर वेटेज व समयमान वेतनमान की मांग को मुख्यमंत्री,मंत्री,विभागीय अधिकारियों के समक्ष रखते आ रहे है संघ इस मांग के लिये शिक्षक न्याय आंदोलन भी जारी रखा हुआ है।
संघ के प्रदेश उपाध्यक्ष सतीश टण्डन व गीता चन्द्राकर ने बताया कि कि नवीन शिक्षक संघ छत्तीसगढ़ के मांग के बाद लोक शिक्षण संचालनालय रायपुर द्वारा इस संबंध में पत्र जारी कर सभी सयुंक्त संचालक शिक्षा संभाग व जिला शिक्षाधिकारी को नियमानुसार वेतन निर्धारण करने करने कहा लेकिन आज चार माह से अधिक समय बीत जाने के बाद भी किसी भी संभाग व जिला में वेटेज व समयमान वेतनमान के आधार पर वेतन का निर्धारण नही किया है जिसके कारण आज भी शिक्षक एलबी संवर्ग के वेतन में भारी विसंगति व्याप्त है,
नवीन शिक्षक संघ की महिला प्रकोष्ठ अध्यक्ष उमा जाटव व प्रदेश सचिव गिरीश साहू के नेतृत्व में रायपुर संभाग से शिक्षक न्याय आंदोलन के दूसरे चरण में सयुंक्त संचालक शिक्षा संभाग रायपुर व जिलाशिक्षाधिकारी रायपुर को मांग पत्र सौपकर प्रथम नियुक्ति तिथि से दो वर्ष पश्चात प्रत्येक वर्ष का एक वार्षिक वेतनवृद्धि वेटेज लाभ व पूर्व सेवा अवधि की गणना कर देय समयमान वेतनमान के आधार पर वेतन निर्धारण कर संविलियन पश्चात सातवां वेतनमान निर्धारण कर शिक्षक एलबी संवर्ग के वेतन में व्याप्त विसंगति को दूर करने की मांग को प्रमुखता से रखा है।
प्रदेश अध्यक्ष विकास सिंह राजपूत ने बताया कि हमारी संविलियन से पूर्व की सेवा को जोड़कर वेतनमान निर्धारण किया जाना चाहिए वेतन विसंगति तीनों संवर्ग में है। जो लाभ शिक्षक संवर्ग के नियमित शिक्षकों को मिल रहा है वह हमें भी मिलना चाहिए । प्रदेश अध्यक्ष महिला प्रकोष्ठ उमा जाटव,गंगा शरण पासी,गिरीश साहू,सतीस टण्डन व गीता चन्द्राकर ने बताया कि शिक्षक एलबी संवर्ग के वेतन में व्याप्त विसंगति को दूर करवाने हेतु सभी संभाग व जिला शिक्षाधिकारी को मांग पत्र सौपकर शिक्षक न्याय आंदोलन को जारी रखने और जरूरत पडऩे पर सड़क पर उतरकर धरना प्रदर्शन कर निर्णायक संघर्ष करने की बात कही है।
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