नई दिल्ली । देश में मंकीपॉक्स के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। केंद्र सरकार ने मंकीपॉक्स के मामलों की निगरानी के लिए टास्क फोर्स का गठन किया है। टास्क फोर्स टीम का नेतृत्व नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डॉक्टर वीके पॉल करेंगे। इसके अन्य सदस्यों में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय, फार्मा और बायोटेक के सचिव शामिल होंगे। उल्लेखनीय है कि भारत में मंकीपॉक्स धीरे धीरे अपना पैर पसार रहा है। पिछले दिनों आंध्र प्रदेश के गुंटूर में आठ साल के बच्चे में इस खतरनाक बीमारी के लक्षण पाए गए थे। इसके बाद उसके सैंपल को जांच के लिए भेज दिया गया। मंकीपॉक्स को लेकर भारत सरकार बिल्कुल अलर्ट मोड में है। इस बीमारी को लेकर एयरपोर्ट, बंदरगाह सभी जगह निगरानी तेज कर दी गई है। राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में पिछले दिनों मंकीपॉक्स का एक मामला सामने आया था। इसके बाद उसे एलएनजेपी अस्पताल में भर्ती कराया गया था। केरल और दिल्ली में कुल मिलाकर भारत में मंकीपॉक्स के अब तक पांच मामले सामने आ चुके हैं। उल्लेखनीय है कि केरल में त्रिशूर के एक निजी अस्पताल में 22 वर्षीय व्यक्ति की कथित तौर पर मंकीपॉक्स के कारण मौत हो गई थी। केरल की स्वास्थ्य मंत्री वीना जॉर्ज ने रविवार को कहा कि 22 वर्षीय युवक की मौत के कारणों की जांच करेंगे, जो हाल में संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) से लौटा था। एक दिन पहले कथित रूप से मंकीपॉक्स के कारण उसकी मृत्यु हो गई थी। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि उसके नमूनों की रिपोर्ट अब तक आई नहीं है। उन्होंने कहा कि मरीज युवा था और उसे कोई और बीमारी या स्वास्थ्य संबंधी कोई अन्य दिक्कत नहीं थी। हालांकि, स्वास्थ्य विभाग उसकी मौत के कारणों का पता लगा रहा है। उल्लेखनीय है कि भारत में केरल से 13 जुलाई को मंकीपॉक्स का पहला संक्रमित मिला था। केरल के कोल्लम शहर के रहने वाले 35 वर्षीय मरीज ने यूएई से लौटने के बाद 14 जुलाई को मंकीपॉक्स से संक्रमित पाया गया था। इसके तुरंत बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया। जॉर्ज ने कहा कि मरीज के सभी नमूनों की दो बार जांच हुई। दोनों नमूनों की रिपोर्ट नेगिटिव आई है। वहीं, मरीज भी शारीरिक और मानसिक रूप से स्वस्थ है। त्वचा के धब्बे पूरी तरह से ठीक हो गए हैं। उसे आज छुट्टी दे दी जाएगी।
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