नई दिल्ली । दिल्ली में बढ़ते तापमान की वजह से हो रही भीषण गर्मी से अब बिजली की खपत भी बढ़ रही है। राजधानी दिल्ली में इस सीजन की रिकॉर्ड 7334 मेगावाट बिजली की मांग दर्ज की गई है। दिल्ली में बिजली की अधिकतम मांग ने इस साल जून के महीनों में छह बार 7,000 मेगावाट का आंकड़ा पार किया है। 9 जून से पहले दिल्ली की सबसे अधिक बिजली की मांग जून के महीने में कभी भी 7,000 मेगावाट से अधिक नहीं हुई थी। इस साल 19 मई को 7,070 मेगावाट की बिजली मांग दर्ज की गई थी। इससे पहले साल 2019 और 2020 में जून के महीने में सबसे अधिक बिजली की मांग 6,314 मेगावाट और 6,769 मेगावाट दर्ज की गई। जो कि एक ही तारीख 29 जून को हुई थी। दिल्ली में बढ़ी बिजली की मांग ने पिछले साल का भी रिकॉर्ड तोड़ दिया है। पिछले साल 2021 में दो जुलाई को अधिकतम मांग 7323 मेगावाट दर्ज हुई थी। अबतक बिजली का सबसे अधिक मांग दो जुलाई 2019 को 7409 मेगावाट दर्ज हुई थी। हालांकि अधिकारियों के अनुसार दिल्ली में जल्द ही 2 जुलाई, 2019 को दर्ज की गई 7,409 मेगावाट की बिजली की अधिकतम मांग का रिकॉर्ड भी टूट सकता है। इस गर्मी के अनुसार राष्ट्रीय राजधानी में 8,200 मेगावाट तक बिजली की मांग जा सकती है। क्योंकि दिल्ली में बिजली की मांग महीने के हर दिन 6,000 मेगावाट का आंकड़ा पार कर गई है। राजधानी में बढ़ती बिजली की मांग को लेकर एक अधिकारी ने कहा दिल्ली के बिजली लोड के पीछे कूलिंग लोड मुख्य वजह है। गर्मियों में दिल्ली की लगभग 50% बिजली की मांग एयर-कंडीशनर, कूलर और पंखे की वजह से होती है। वहीं बिजली की मांग बढ़ने के साथ दिल्ली के कई इलाकों से बिजली कटौती की शिकायतें बढ़ गई है, दिल्ली के छत्तरपुर, जनकपुरी, कृष्णा नगर, गांधी नगर, सीलमपुर, उत्तर नगर जैसे इलाकों में बिजली की काफी कटौती हो रही है।
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