जांच समिति की कार्य प्रणाली पर हो उच्च स्तरीय जांच: जशपुर अस्पताल घोटाले में जांच के नाम पर हो रहा है खिलवाड़, सांसद गोमती साय ने कहा जिनपर है आरोप उन्हें ही दे दी जा रही है फाइलें, सीएस भी मामले को सलटाने खुलकर कर रही सहयोग….मामले को रफा दफा करने जुटा अमला….

by sadmin

दक्षिणापथ, पत्थलगांव। जशपुर के जिला चिकित्सालय में करोड़ों के घोटाले मामले में पूरे मामले को रफा-दफा करने और त्रुटियों को सुधारने पूरा विभाग जुट गया है। सांसद श्रीमती गोमती साय ने आरोप लगाया है कि जांच के नाम पर यहां खिलवाड़ किया जा रहा है और पूरा प्रशासन इस मामले के साक्ष्य और गलतियों को छुपाने में जुट गया। सांसद श्रीमती गोमती साय ने बताया कि उन्हें विश्वनीय सूत्रों से जानकारी मिली है कि 8 जून की दोपहर आरएमओ रहे डॉ अनुरंजन हॉस्पिटल पहुंचे और सीएस की अनुमति से उन्हें महत्वपूर्ण फाइलें दे दी गई। उन्होंने कहा कि हर विभाग में फाइलों को अपडेट करने और साक्ष्यों को छुपाने आदेश जारी कर दिया गया है। पूरा अमला मामले को रफा-दफा कर रहा है और जिला प्रशासन की जांच समिति भी मामले में कार्यवाही छोड़कर करोड़ों के इस स्वास्थ्य घोटाले को दबाने में जुट गई है इसके लिए जांच समिति ने विभाग को पूरा छूट दे रखा है। श्रीमती साय ने कहा है कि सही जांच तब होती जब जांच समिति जांच दल गठित होते ही पूरे फाइलों को अपने कब्जे में कर लेती और निष्पक्षता पूर्वक जांच की जाती लेकिन ऐसा नहीं किया गया और विभाग को अपनी फाइलें दुरुस्त करने के लिए पूरा समय दे दिया गया। जशपुर अस्पताल के सीएस, स्टोर प्रभारी और पूर्व आरएमओ सभी मिलकर पूरे मामले को सुलझाने में जुटे हैं। ऐसे में अब जांच समिति के ऊपर भी जांच होनी चाहिए कि जिस विश्वास के साथ उन्हें जांच की जिम्मेदारी दी गई थी। उन्होंने पूरे मामले को दबाने में जो अपराध किया है इस पर जांच कर कार्यवाही की जानी चाहिए और यह प्रदेश स्तरीय जांच होनी चाहिए। जिससे जशपुर की मासूम जनता के साथ जो छल हुआ है और जिन लोगों ने करोड़ों रुपए गबन किए हैं उनके ऊपर कार्रवाई कर जशपुर के नागरिकों को इसका न्याय दिलाया जा सके।

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