नई दिल्ली। घरेलू प्रवासी मतदाताओं के काम की बड़ी खबर सामने आई है, जिसके तहत रिमोट वोटिंग की सुविधा मिलेगी। चुनाव आयोग ने कहा है कि घरेलू प्रवासी मतदाताओं के लिए रिमोट इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन के लिए एक शुरुआती मॉडल तैयार कर लिया गया है। इसके जरिए लोग अपने घरों से दूर रहकर भी वोटिंग कर सकेंगे। इधर आधार को भी वोटर आईडी से लिंक करने का काम चल रहा है और उम्मीद है कि ऐसा करके मतदाता सूची से जो भी नकली/फर्जी मतदाता पंजीकृत हैं, उन्हें हटाया जाएगा।
उल्लेखनीय है कि चुनाव आयोग ने रिमोट इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीन को दिखाने के लिए राजनीतिक दलों को 16 जनवरी 2023 को बुलाया है। चुनाव आयोग की तरफ से जारी एक बयान के अनुसार आयोग ने ‘रिमोट वोटिंग’ पर एक प्रस्ताव पत्र जारी किया है। इस प्रस्ताव को लागू करने में जो भी कानूनी, प्रशासनिक प्रक्रियात्मक, तकनीकी तथा तकनीकि संबंधी चुनौतियां आएंगी, उस पर राजनीतिक दलों के विचार मांगे गए हैं।
‘रिमोट’ मतदान केंद्र के 72 निर्वाचन क्षेत्रों में होगी ‘रिमोट वोटिंग’ की सुविधा
चुनाव आयोग के बयान के अनुसार इस मसौदे के जरिए एक ‘रिमोट’ मतदान केंद्र होगा, जिससे 72 निर्वाचन क्षेत्रों में ‘रिमोट वोटिंग’ की सुविधा दी जा सकेगी। आयोग का मानना है कि इस सुविधा के होने से प्रवासी मतदाताओं को वोटिंग के लिए अपने गृह राज्य/नगर जाने की आवश्यकता नहीं होगी। जिस जगह वे होंगे वहीं से इस सुविधा के जरिए मतदान कर सकेंगे। मुख्य निर्वाचन आयुक्त राजीव कुमार ने कहा कि रिमोट वोटिंग एक परिवर्तनकारी पहल साबित होगी।
राजनीतिक दलों को नया प्रोफॉर्मा पेश करने को कहा, फंड का ब्यौरा भी देना होगा
बता दें कि 2023 में 10 राज्यों में विधानसभा चुनाव होने हैं। इसको लेकर चुनाव आयोग अपनी तैयारियों में लगा हुआ है। उन तैयारियों में चुनाव आयोग ने अपने पहले कदम के तौर पर सभी राजनीतिक दलों को एक अतिरिक्त नया प्रोफॉर्मा पेश करने को कहा है, जिसमें घोषणा पत्र में किए गए प्रत्येक चुनावी वादे, पूरा व्यय और राज्य की वित्तीय स्थिति की तुलना में वादों को कैसे पूरा किया जाएगा, जैसी बातों का विवरण हो। इसके अलावा चुनाव आयोग का प्रस्ताव है कि सभी राजनीतिक दलों को बताना चाहिए कि क्या उन्हें कोई विदेशी चंदा मिला है। ऐसे दलों को कुल चंदे का 20 फीसदी से अधिक कैश के रूप में स्वीकार नहीं करना चाहिए।
NRI भारतीयों के लिए मतदान आसान करने की तैयारी
इसके अलावा चुनाव आयोग NRI भारतीयों के लिए मतदान को आसान बनाने की योजनाओं पर भी काम कर रहा है। टाइम्स ऑफ इंडिया के मुताबिक एक आंकड़े के मुताबिक NRI की संख्या लगभग 1.5 करोड़ हैं और उनमें से लगभग पचीस हजार वर्तमान में भारतीय मतदाताओं के रूप में पंजीकृत हैं। हालांकि अगर ऐसे लोगों को वोटिंग की सुविधा मिलती है तो इसकी संख्या और भी हो सकती है। बता दें कि इनकी अधिकतर संख्या केरल, पंजाब, गोवा और आंध्रप्रदेश राज्यों से है।