केंद्र सरकार ने मंकीपॉक्स बीमारी को लेकर गाइडलाइन जारी की

by sadmin

नई दिल्ली ।  केंद्र सरकार ने मंकीपॉक्स बीमारी को लेकर गाइडलाइन जारी की है। केंद्र सरकार के मुताबिक, भारत मे अभी तक एक भी मंकीपॉक्स का केस नहीं है लेकिन जिस तरह से दुनिया के देशों में इसके मामले सामने आ रहे है उससे केंद्र चिंतित है। जारी गाइडलाइन में कहा गया है कि इंटिग्रेटेड डिसीज सर्विलांस प्रोग्राम के माध्यम से संदिध के नमूने नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ वायरोलॉजी पुणे भेजे जाएंगे।
गाइडलाइन में कहा गया है कि मंकीपॉक्स से संक्रमित व्यक्ति की 21 दिनों तक निगरानी की जाएगी। अगर कोई व्यक्ति मंकीपॉक्स संक्रमित के संपर्क में आ जाता है तो उसे उसी दिन से अगले 21 दिनों तक निगरानी में रखा जाएगा और उसमें देखा जाएगा कि किसी तरह के लक्षण तो नही हैं। संक्रामक अवधि के दौरान किसी मरीज या उनकी दूषित सामग्री के साथ अंतिम संपर्क में आने के बाद 21 दिनों की अवधि के लिए हर रोज निगरानी की जानी चाहिए।
मंकीपॉक्स वायरस अब तक 25 देशों में फैल चुका है। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने हालांकि कहा है कि वायरस से घबराने का कोई कारण नहीं है। यह गंभीर बीमारी का कारण नहीं बनता है। डब्ल्यूएचओ ने का कहना है कि उसे अफ्रीकी देशों से बाहर मंकीपॉक्स के फैलने को लेकर ज्यादा चिंता नहीं है। ऐसी संभावना कम ही है कि यह एक वैश्विक महामारी का रूप लेगा। ब्रिटेन ने पहली बार 7 मई को मंकीपॉक्स के केस की सूचना दी थी। अब तक 25 के करीब देशों में लगभग 400 संदिग्ध और पुष्ट मामले मिले हैं।

Related Articles

Leave a Comment